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दलदल(daldal)

दलदल क्यों आ गयी बाढ़ अहसासों की , जहा बंजर था अभीतक।  ये दलदल मे मैं धसा जा रहा हूँ।  जितना झटपटाऊ , उतना खींचा चला जाता हूँ।  सोचता हूँ की अकेला निकल जाऊ इधरसे किसी नाव मे ।  लेकिन बहाओ इन् अहसासों का ही होगा उसमे।  कभी तो इस जगह कमल खिलने की आशा रोक लेती है मुझे।  डर भी है की कमल खिल जाए दूर , और मैं धसके मर जाउगा इस में।  - संकेत अशोक थानवी ॥१९/२/१६॥